भारत में इंटरनेट पर भारतीय भाषाओं के यूजर्स ने अंग्रेजी भाषा के यूजर्स को तादाद के लिहाज से कब का पछाड़ दिया है. आज भारत में लगभग 234 मिलियन यूजर भारतीय भाषाओं में इंटरनेट से जानकारी हासिल कर रहे हैं, जबकि इंग्लिश यूजर की तादाद 175 मिलियन के आस-पास है. स्मार्टफोन और डेटा पैक के सस्ते होने की वजह से इंटरनेट पर भारतीय भाषाओं के यूजर की तादाद तेजी से बढ़ी है. 2021 तक भारत के साइबर स्पेस में 75 फीसदी हिस्सा भारतीय भाषाओं के यूजर के कब्जे में चला जाएगा.
इसका मतलब है कि आने वाले पांच साल में हर 10 में से 9 नए इंटरनेट यूजर भारतीय भाषाओं के होंगे.
एक ऐसे देश में, जो इंटरनेट यूजर के लिहाज से दुनिया का दूसरा बड़ा देश है, ये आंकड़े बिजनेस के ढांचे में बड़े बदलाव की तरफ इशारा करते हैं. बदली हुई परिस्थियों में यह सवाल पीछे छूट गया है कि भारतीय भाषाओं का इस्तेमाल कारोबार के लिए क्यों किया जाना चाहिए. आज के दौर का अन्य सवाल है कि कारोबार के लिए भारतीय भाषाओं का इस्तेमाल कैसे किया जाए.
क्विंट हिंदी और गूगल की मेजबानी में हो रहा BOL एक ऐसा आयोजन है, जिसमें बाजार और भारतीय भाषाओं के बीच संबंधों को समझने की कोशिश की जाएगी. इस आयोजन का उद्देश्य है कि कारोबार जगत, मीडिया, और पब्लिशिंग इंडस्ट्री से जुड़ों बेहतरीन दिमागों को एक मंच पर लाया जाए और इंटरनेट पर भारतीय भाषाओं के इस्तेमाल में आई विस्फोटक तेजी को समझा जा सके. पैनल डिस्कसन से लेकर फायरसाइड चैट तक, आपको उन लोगों को सुनने का मौका मिलने जा रहा है, जो इस बदलाव का हिस्सा हैं. एक पूरा दिन आपको भारत में इंटरनेट और उससे जुड़ी अर्थव्यवस्था पर आंखें खोल देने वाली जानकारियों से लबरेज कर देगा. आप भी इस दिलचस्प बातचीत का हिस्सा बनिए. हमें आपका इंतजार रहेगा.