आपने अपनी मां की रसोई में मसालों का बॉक्स जरूर देखा होगा, जिसका इस्तेमाल वह खाना पकाने में खुले दिल से करती हैं. अगर आप इन मसालों पर नाक-भौं चढ़ा रहे हैं, तो आप अपना भारी नुकसान कर रहे हैं. ये स्पाइस बॉक्स पोषक तत्वों का भंडार हैं. यह आपके वजन घटाने के अभियान में काफी मददगार हो सकता है. तो आइए इन 12 हेल्दी मसालों के बारे में जान लीजिए!
मेथी के बीज
वजन बढ़ने का एक मुख्य कारण है ओवर ईटिंग और मेथी भूख को काबू में रख कर उस पर अंकुश लगाने में मदद करती है. मेथी तृप्ति बढ़ाती है और भूख की तड़प को कम करती है. मेथी के बीज के अर्क को भी फैट घटाने वाला कहा गया है, जिससे समग्र कैलोरी में कमी आती है.
इनके साथ ही, मेथी डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर और हाई कोलेस्ट्रॉल जैसी लाइफ स्टाइल की बीमारियों को रोकने में भी मदद कर सकती है. बच्चे को स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए भी मेथी फायदेमंद होती है.
जीरा
जीरा कई व्यंजनों का हिस्सा है और आपको लंबे समय तक सेहतमंद रखता है. अध्ययन बताते हैं कि रोजाना एक चम्मच जीरा शरीर की तीन गुना ज्यादा फैट को बर्न कर सकता है. जीरा मेटाबॉलिज्म सुधारने के लिए भी जाना जाता है.
इनके साथ ही जीरा ग्लाइसेमिक कंट्रोल में सुधार, कोलेस्ट्रॉल घटाने और तनाव कम करने में काम आता है.
अदरक
अदरक सिर्फ जायका ही नहीं बढ़ाता है, इसमें फैट बर्न करने के गुण भी होते हैं. अदरक ब्लड शुगर में अचानक बढ़ोतरी को रोकने में मदद करता है, और इससे शरीर के वजन के साथ ही पेट की चर्बी भी कम होती है.
अदरक के कई फायदे हैं, जैसे इंफ्लेमेशन शांत करना और आंतों के कामकाज को सुचारू करना. इसका उपयोग कई प्राकृतिक दवाओं में भी किया जाता है.
हल्दी
हल्दी कई आम बीमारियों में प्राकृतिक इलाज का सहारा लेने वालों की पसंदीदा है. इसमें कर्क्यूमिन होता है, जो ब्लड सप्लाई को नियंत्रित करके फैट टिश्यू के निर्माण को रोकता है.
वजन कम करना हल्दी के कई स्वास्थ्य लाभों में से एक है. अन्य फायदों में जलन को कम करना, घाव भरने में तेजी लाना और इम्यूनिटी बढ़ाना शामिल है.
लहसुन
इस मसाले में इसके कड़वे स्वाद से मेल खाते हुए फैट को कम करने वाले गुण होते हैं. अध्ययनों में पाया गया है कि लहसुन शरीर में जमा फैट को कम करता है, और यह शरीर के तापमान को बढ़ाकर फैट घटाने की रफ्तार को तेज करता है.
लहसुन के कई दूसरे स्वास्थ्य लाभ भी हैं, जैसे ब्लड प्रेशर को कम करना, जलन से बचाना, साथ ही हृदय रोग और ऑस्टियोअर्थराइटिस जैसी बीमारियों को दूर रखना.
काली मिर्च
काली मिर्च पिपेरिन से भरपूर है. पिपेरिन ऐसा कंपाउंड है, जो मेटाबॉलिज्म को बढ़ाने के लिए जाना जाता है. दूसरे फैट बर्न करने वाले पदार्थों के साथ मिलकर काली मिर्च 20 मिनट की पैदल चलने जितनी कैलोरी बर्न सकती है. यह नई फैट कोशिकाओं के निर्माण को भी रोकती है.
काली मिर्च वजन घटाने के अलावा, खाद्य पदार्थों की जैव-उपलब्धता को भी बढ़ा देती है, जिसका अर्थ है कि न्यूट्रिएंट्स शरीर द्वारा ज्यादा आसानी से अवशोषित होते हैं.
दालचीनी
दालचीनी में एक कंपाउंड होता है, जो मानव शरीर में इंसुलिन जैसा असर पैदा कर सकता है, जिससे ग्लूकोज मेटाबॉलिज्म 20 गुना बढ़ जाता है. दालचीनी भी भूख की तड़प पर अंकुश लगाकर ओवर ईटिंग से रोकती है.
यह कंपाउंड दालचीनी को ब्लड शुगर को रेगुलेट करने की क्षमता भी प्रदान करता है और ट्राइग्लिसराइड्स और बैड कोलेस्ट्रॉल को कम करता है.
सरसों के बीज
सरसों के बीज वजन को काबू में रखने वालों के लिए आदर्श होते हैं. अध्ययनों से पता चलता है कि रोजाना 3/5 चम्मच सरसों के बीज खाने से इसे लेने के 3 घंटे बाद एक घंटे में 45 कैलोरी तक बर्न करने में मदद मिलती है. अध्ययन यह भी बताते हैं कि इससे 25 फीसद तक मेटाबॉलिज्म भी बढ़ता है.
सरसों के बीज में ओमेगा-3 फैटी एसिड और सेलेनियम भी भरपूर मात्रा में होते हैं, जो शरीर से हैवी मेटल्स को खत्म करने में मदद करते हैं.
रोजमेरी
रोजमेरी में कार्नोसिक एसिड नाम का एक तत्व होता है, जो फैट सेल्स के निर्माण को रोकता है और हाजमे को सुधारता है. रोजमेरी ग्लूकोज अवशोषित करने में भी मांसपेशियों की मदद करता है, जिसके चलते ब्लड शुगर स्थिर होता है और भूख नियंत्रण में रहती है.
रोजमेरी में एंटी-ऑक्सिडेंट भी होते हैं, जो याददाश्त को बेहतर बनाने और मैक्यूलर डीजनरेशन (बुढ़ाने में नजर कमजोर होना) को रोकने में मदद करते हैं.
लाल मिर्चा
लाल मिर्चे का सक्रिय घटक है कैपेसाएसिन, जिसमें थर्मोजेनिक गुण होते हैं- ये शरीर के तापमान को बढ़ाता है, जिससे मेटाबॉलिज्म में बढ़ोतरी होती है. अध्ययन बताते हैं कि इस मसाले को लेने से प्रति भोजन 100 कैलोरी तक बर्न हो सकती है. यह भूख जगाने वाले हार्मोन ग्रेलिन को भी कम करता है.
लाल मिर्चा ब्लड प्रेशर को कम करता है और बैड कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करता है, जिससे हार्ट के स्वास्थ्य में सुधार होता है.
सौंफ
सौंफ एक मसाला है, जो हाजमे में सुधार करने और आंत की गतिविधियों को नियमित करने के लिए आदर्श है, जिसके चलते वजन घटाने में मदद मिलती है. सौंफ भूख को दबाने में भी मदद करती है और इसके एंटीऑक्सिडेंट गुण जहरीले पदार्थों को हटाने में मदद करते हैं.
सौंफ में मिनरल्स और विटामिन भी होते हैं, जो हड्डियों की सेहत को अच्छा करते हैं, हड्डियों से संबंधित बीमारियों जैसे ऑस्टियोपोरोसिस को रोकने में मदद करते हैं.
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इलायची
इलायची पाचन को बढ़ाने का काम करती है और डाइजेस्टिव अल्सर से भी बचाती है. यह मेटाबॉलिज्म को बढ़ाती है, कैलोरी को अधिक प्रभावी ढंग से बर्न करती है और वजन घटाने में मदद करती है. अध्ययन यह भी बताते हैं कि इलायची पेट की चर्बी कम करने में मदद कर सकती है.
इलायची एंटीऑक्सिडेंट और जलन को शांत करने तत्वों से भरपूर है. यह कैंसर जैसी जटिल बीमारियों से भी सुरक्षा देती है.
ये सही है कि सभी मसालों के कुछ न कुछ फायदे होते हैं, लेकिन इन्हें एक दिन में एक चम्मच से ज्यादा नहीं लेना चाहिए. वजन घटाने में प्रभावी और दीर्घकालिक परिणामों के लिए जरूरी है कि इन मसालों को कम कैलोरी, पोषक तत्वों से भरपूर, संतुलित आहार और पर्याप्त गतिविधि के साथ लिया जाए. किसी भी चिकित्सीय दशा के मामले में, कोई भी नई डाइट शुरू करने से पहले डॉक्टर की मंजूरी हासिल करना जरूरी है.
(प्रतिभा पाल ने अपना बचपन ऐसी शानदार जगहों पर बिताया है, जिनके बारे में सिर्फ फौजियों के बच्चों ने ही सुना होगा. वह तरह-तरह की किताबों को पढ़ते हुए बड़ी हुई हैं. जब वो अपने पाठकों के साथ शेयर करने के लिए किसी DIY रेसिपी तैयार करने का काम नहीं कर रही होती हैं, तब प्रतिभा सोशल मीडिया पर अपनी लेखन कला का जादू बिखेर रही होती हैं. आप उनके ब्लॉग www.pratsmusings.com पर पढ़ सकते हैं या उनसे @myepica पर ट्विटर पर संपर्क कर सकते हैं.)
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